शक्ति पंप्स (इंडिया) लिमिटेड ने वित्त-वर्ष 23 की तीसरी तिमाही के वित्तीय परिणामों की घोषणा

पिथमपुर, –देश में स्टेनलेस स्टील सबमर्सिबल पंप, प्रेशर बूस्टर पंप, पंप-मोटर्स, कंट्रोलर और इनवर्टर के साथ-साथ अन्य उत्पादों का निर्माण करने वाली अग्रणी कंपनी, शक्ति पंप्स (इंडिया) लिमिटेड (इसके बाद “SPIL” कहा जाएगा) ने 31 दिसंबर, 2022 को समाप्त तिमाही और 9 महीनों के लिए वित्तीय परिणाम घोषित किए।

शक्ति पंप्स (इंडिया) लिमिटेड के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, श्री दिनेश पाटीदार ने कंपनी के वित्तीय परिणामों के बारे में बताते हुए कहा, “वित्त-वर्ष 2023 की तीसरी तिमाही के दौरान कंपनी का प्रदर्शन अच्छा रहा, तथा साल-दर-साल 17% की वृद्धि दर्ज करते हुए कंपनी का राजस्व 3,142 मिलियन रुपये रहा, जो वित्त-वर्ष 2022 की तीसरी तिमाही में 2,686 मिलियन रुपये था। इसमें सोलर ईपीसी के साथ-साथ हमारे निर्यात कारोबार में मजबूत वृद्धि का अहम योगदान रहा। कुल मिलाकर देखा जाए, तो हमने वित्त-वर्ष 22 में समाप्त 9 महीने के दौरान 7,940 मिलियन रुपये की तुलना में वित्त-वर्ष 23 में समाप्त 9 महीने में 7,850 मिलियन रुपये का राजस्व दर्ज किया। हमारा निर्यात कारोबार हमारे लिए उल्लेखनीय रूप से बेहतर रहा है, तथा साल-दर-साल 24.5% की वृद्धि के साथ वित्त-वर्ष 23 में समाप्त 9 महीने में हमारा निर्यात राजस्व 1,659 मिलियन रुपये रहा। मौजूदा उच्च इनपुट लागत के साथ बेहद चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों की वजह से हमारा मार्जिन काफी मंद रहा। साल-दर-साल 320 bps की गिरावट की गिरावट के साथ वित्त वर्ष 2023 की तीसरी तिमाही में हमारा EBITDA मार्जिन 7.0% रहा, जो पिछले साल इसी अवधि में 10.2% था। हालांकि, तिमाही-दर-तिमाही के आधार पर EBITDA में 121 bps का मामूली सुधार दर्ज किया गया है।

मौजूदा चुनौतियों के बीच, पीएम-कुसुम योजना के तहत कुछ सकारात्मक विकास हुए हैं। सोलर एनर्जी कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (SECI) ने दिसंबर 2022 के महीने में 6.66 लाख से अधिक सोलर पंपों के लिए नए टेंडर जारी किए हैं, जिनके लिए बोली लगाने का कार्य मार्च 2023 तक पूरा होने की उम्मीद है।

पहले के टेंडरों की तुलना में इस बार बोली लगाने के लिए पात्रता मानदंडों का दायरा बढ़ाया गया है, जिसका फायदा बड़ी और संगठित कंपनियों को मिलेगा। हम इन नए टेंडर में हिस्सा लेंगे और बोलियों के मूल्य निर्धारण की बारीकी से निगरानी करेंगे। हालांकि, इन नए टेंडर के लिए सख्त पात्रता मानदंडों को देखते हुए हमें पिछली कुसुम बोलियों की तुलना में बेहतर दरें प्राप्त होने की उम्मीद है। कुसुम योजना में मौजूदा टेंडरों के तहत उल्लिखित कुल आवश्यकता का 82.5% हिस्सा महाराष्ट्र, हरियाणा, राजस्थान, मध्य प्रदेश और पंजाब सहित प्रमुख राज्यों का है। SPIL सोलर पंप का निर्माण करने वाली सबसे बड़ी कंपनियों में से एक है तथा टेंडर में शामिल इन प्रमुख राज्यों में 30-35% से अधिक की मजबूत बाजार उपस्थिति है। इसलिए टेंडर के मौजूदा दौर में हम अच्छे ऑर्डर हासिल करने की उम्मीद कर रहे हैं, जो आगे चलकर हमें अपने प्रदर्शन को और मजबूत बनाने में मददगार साबित होंगे।”