प्रशासनिक शक्ति के आगे प्रभारी मंत्री भी पावर लेस भाजपा पदाधिकारियों के अवेध गार्डन तोड़े

प्रभारी मंत्री के आश्वासन के बाद भी प्रशासन की टीम ने ढहाया शगुन गार्डन,भाजपा नेताओं ने की प्रभारी मंत्री से प्रशासन की शिकायत

रतलाम जिला प्रशासन द्वारा गुण्डा तत्वों के खिलाफ शुरु की गई मुहिंम में कुछ ऐसे लोगों पर भी गाज गिर गई,जिनका अपराध या असामाजिक गतिविधि से कोई लेना देना नहीं है। इस तरह की घटनाओं से आक्रोशित भाजपा के कई नेताओं ने जिला प्रभारी मंत्री से इस बात की शिकायत की। प्रभारी मंत्री द्वारा निर्माण नहीं तोडे जाने का आश्वासन दिए जाने के बावजूद भी प्रशासन की टीम ने शगुन गार्डन को ढहा दिया।

पिछले दिनों भाटों का वास इलाके में हुई गोलीबारी के बाद प्रशासन द्वारा सख्त रवैया अपनाया गया। जिला प्रशासन ने सट्टा और अन्य आपराधिक गतिविधियों से जुडे लोगों के घर इत्यादि तोडने की मुहिम प्रारंभ की है। इस मुहिम में कुछ ऐसे लोग भी प्रशासन की कार्रवाई की चपेट में आ गए,जिनका किसी असामाजिक या आपराधिक गतिविधि से कोई लेना देना नहीं है। इसी बात को लेकर कई पदाधिकारी जिला प्रशासन से नाराज है। भाजपा के अनेक पदाधिकारियों ने जिला प्रभारी मंत्री से मिलकर प्रशासन की शिकायत की।
भाजपा सूत्रों के मुताबिक भाजपा के तमाम पदाधिकारी,प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों द्वारा उन्हे महत्व नहीं दिए जाने से परेशान है। सुराना मामले में भी यही बात सामने आई थी कि भाजपा जिलाध्यक्ष और ग्र्रामीण विधायक द्वारा फोन लगाए जाने के बाद भी पुलिस अधिकारियों ने सुराना के गांववासियों को जिला बदर करने और मकान तोडने की धमकी दी थी। इसी के बाद सुराना गांव के लोगों ने सुराणा से पलायन करने की घोषणा की थी।
भाजपा सूत्रों के मुताबिक,गणतंत्र दिवस समारोह सम्पन्न होने के बाद जब प्रभारी मंत्री भदौरिया सर्किट हाउस पंहुचे तो भाजपा के कई पदाधिकारियों ने बंद कमरे में पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों के प्रति जमकर नाराजगी का इजहार किया। भाजपा नेताओं का कहना था कि सुराणा में की गई गलती को छुपाने के चक्कर में प्रशासन रतलाम शहर में बेवजह सख्ती कर रहा है। यह सख्ती दोषी व्यक्तियों के खिलाफ की जाए,तो कोई समस्या नहीं है। लेकिन प्रशासन और पुलिस के अधिकारी उन लोगों को भी अपनी कार्रवाई का निशाना बना रहे है,जिनका किसी असामाजिक या आपराधिक गतिविधि से कोई लेना देना नहीं है। अधिकारी जनप्रतिनिधियों और भाजपा नेताओं को तवज्जोह भी नहीं देते। सभी पदाधिकारियों ने प्रशासन और पुलिस के अधिकारियों को तुरंत रतलाम से हटाने की मांग भी प्रभारी मंत्री के सामने रखी।

भाजपा सूत्रों के मुताबिक बुधवार को हुई तोडफोड की कार्यवाही के पहले,शगुन गार्डन के संचालकों ने प्रभारी मंत्री से मुलाकात की थी और प्रभारी मंत्री को उन्होने बताया था कि निर्माण में कोई गडबडी नहीं है। उन्होने प्रशासन की कार्रवाई को रुकवाने की मांग की थी। बताते है कि प्रभारी मंत्री श्री भदौरिया ने यह आश्वासन दिया था कि कार्यवाही को रोका जाएगा और सारे तथ्य देखने के बाद ही आगे कार्यवाही की जाएगी। लेकिन प्रभारी मंत्री के रतलाम से रवाना होने के तुरंत बाद प्रशासन की टीम ने शगुन गार्डन को ढहा दिया। प्रभारी मंत्री का आश्वासन भी किसी काम ना आया।

भाजपा नेताओं को प्रशासन और पुलिस के अधिकारियों से शिकायत है कि वे भाजपा के जिला पदाधिकारियों की बातों को भी महत्व नहीं देते। प्रभारी मंत्री से अधिकारियों की शिकायतों पर प्रभारी मंत्री ने इस विषय को मुख्यमंत्री के सामने रखने का आश्वासन भी दिया। भाजपा सूत्रों के मुताबिक प्रभारी मंत्री को बंद कमरे में की गई शिकायत के मौके पर शहर के सभी मण्डल अध्यक्ष,जिला महामंत्री और यहां तक कि विधायक भी मौजूद थे।

प्रभारी मंत्री द्वारा दिए गए आश्वासन के बाद भी जब प्रशासन द्वारा शगुन गार्डन को तोडे जाने की जानकारी भाजपा नेताओं को मिली,तो उनकी समझ में आ गया कि प्रभारी मंत्री खुद भी पावरलैस है। भाजपा सूत्रों का कहना है कि जिला भाजपा के तमाम पदाधिकारी अब इस मामले में कडा रुख अपनाने के मूड में है। भाजपा सूत्रों का कहना है कि जिला भाजपा के तमाम पदाधिकारी अब भोपाल पंहुचकर मामले को उठाने की तैयारी में है। भाजपा नेताओं का कहना है कि जब उनकी बात प्रशासन सुनने को ही तैयार नहीं है,तो वे भी पद पर रहने को तैयार नहीं है। भाजपा पदाधिकारी भोपाल पंहुचकर प्रदेश के नेताओं के सामने सामूहिक त्यागपत्र देने की योजना बना रहे है।