इंदौर, । यज्ञानुष्ठान धर्म के साथ विज्ञान सम्मत प्रक्रिया भी है। यज्ञकर्म से देवी-देवता प्रसन्न होकर हमारे शुभ और मंगल के लिए शुभाशीष प्रदान करते हैं। शास्त्रों ने भी यज्ञ का महत्ता को प्रतिपादित किया है। यज्ञ के दर्शन मात्र औऱ यज्ञशाला की परिक्रमा करने से व्यक्ति के सभी तरह के कष्टों का समाधान होता है। यज्ञ स्थल की पवित्र रजकण को मस्तक से लगाने से भी संसार के दुखों का शमन संभव है।
विमानतल मार्ग स्थित श्री श्रीविद्याधाम की यज्ञशाला में चल रहे श्री सग्रहमख शिवशक्ति महायज्ञ में आज आचार्य पं. राजेश शर्मा ने श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए उक्त बातें कही।