नेमावर कांड का विरोध करने वाले आदिवासी कर्मचारियों का उत्पीड़न बंद करे सरकार – कांग्रेस

नेमावर कांड का विरोध करने वाले आदिवासी कर्मचारियों का उत्पीड़न बंद करे सरकार – कांग्रेस


भोपाल, । ।मध्य प्रदेश के देवास जिले के नेमावर में हुए आदिवासी परिवार के हत्याकांड में शुरू से लेकर अब तक मध्य प्रदेश सरकार का रुख अत्यंत नकारात्मक रहा है। सबसे पहले तो राजनीतिक दबाव में पुलिस मामले को यहां-वहां घूमाती रही और मामले का खुलासा होने में करीब डेढ़ महीने का वक्त लग गया।
जब कांग्रेस और स्थानीय आदिवासी संगठनों ने सरकार पर दबाव डाला तब जाकर मामले की जांच शुरू हुई और यह पता चल सका कि जिन पांच आदिवासी लोगों के लापता होने की बात कही जा रही है, असल में उनकी हत्या करके जमीन के नीचे गाड़ दिया गया है।

आदिवासियों के इस जुल्म को कांग्रेस पार्टी ने बड़ी गंभीरता से लिया। प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री श्री कमलनाथ स्वयं जाकर आदिवासी परिवार से मिले और उनके दुख की व्यथा समझी। उन्होंने पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा के नेतृत्व में एक कमेटी बनाई जिसने पुरे मामले की जाँच कर प्रदेश कांग्रेस को वस्तुस्तिथि से अवगत कराया| यही नहीं श्री कमलनाथ ने परिवार की कमजोर आर्थिक स्थिति देखते हुए कांग्रेस पार्टी की ओर से पीड़ित आदिवासी परिवार को 25 लाख रुपए भी प्रदान कराए।

कांग्रेस विपक्ष में रहकर भी आदिवासी परिवार के साथ तन मन धन से खड़ी है, लेकिन भारतीय जनता पार्टी इस मामले में लगातार आदिवासी विरोधी रवैया अपनाए हुए है। ताजा जानकारी के अनुसार देवास पुलिस उन सरकारी कर्मचारियों पर कार्यवाही कर रही है जो पीड़ित आदिवासी परिवार को न्याय दिलाने के ज्ञापन- प्रदर्शन आदि में शामिल हुए थे। जानकारी के मुताबिक कम से कम 15 आदिवासी कर्मचारियों पर पुलिस कार्रवाई कर रही है। क्या किसी वंचित तबके को अपने लोगों के साथ हुए जुल्म का विरोध करने का अधिकार नहीं है? भारतीय लोकतंत्र हर नागरिक को शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन करने का अधिकार देता है। लेकिन भारतीय जनता पार्टी ने आदिवासी सरकारी कर्मचारियों को प्रताड़ित करना शुरू करके आदिवासियों को दबाने की कोशिश की है। बीजेपी की कोशिश है कि आदिवासियों को इतना डरा दो कि वह अपने खिलाफ होने वाले किसी भी अत्याचार के खिलाफ आवाज उठाने की हिम्मत नहीं कर सकें। इस मामले में मुख्य आरोपी को बीजेपी नेताओं का संरक्षण प्राप्त था और पुलिस की भूमिका पहले ही संदिग्ध रही है। ऐसे में इस बात का अंदेशा था कि भारतीय जनता पार्टी सरकार मामला ठंडा पड़ने के बाद आदिवासियों के उत्पीड़न की नई चाल चलेगी।
कांग्रेस पार्टी यह स्पष्ट कर देना चाहती है कि मध्य प्रदेश में आदिवासियों पर जुल्म करने की शिवराज सरकार की मंशा पूरी नहीं होगी। कांग्रेस पार्टी दृढ़तापूर्वक पीड़ित परिवार और पूरे आदिवासी समाज के साथ खड़ी है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से अनुरोध है कि वह तुरंत देवास पुलिस को निर्देश दें कि आदिवासी कर्मचारियों का उत्पीड़न बंद हो और पुलिस उनके खिलाफ शुरू की गई सारी जांचें या अभियोग वापस ले।