गर्मी के मद्देनजर व्यवस्थाओं को चाक चौबंद रखने के निर्देश दिए
रतलाम 22 फरवरी । जिला चिकित्सालय के सभाकक्ष में सिविल सर्जन डॉ एम एस सागर की अध्यक्षता में चिकित्सकों के साथ बैठक आयोजित की गई। बैठक में गर्मी के मौसम के मद्देनजर व्यवस्थाओं को बनाए रखने के संबंध में चर्चा विमर्श कर निर्देश दिए गए। सिविल सर्जन ने सभी चिकित्सकों एवं नर्सिंग ऑफिसर्स को आगाह किया कि मौसम का बदलाव हो रहा है इसलिए मच्छरों का प्रकोप बढ़ने से मलेरिया तथा गर्मी से उलटी, दस्त के मरीजों की संख्या बढ़ सकती है। हम सभी चिकित्सक एवं समस्त स्टाफ अपने निर्धारित समय पर ओपीडी में उपस्थित होकर आगंतुक मरीजों को संवेदनशील होकर सेवाएं प्रदान करे।
अस्पताल में अधिक संख्या में मरीज आने की स्थिति से पूर्व ही आवश्यक सभी तैयारियां पूरी कर ली जाए, इसके लिए मेडिसिन वार्ड सहित अस्पताल में खाली स्थान चिन्हित कर पलंग लगा दिया जाए, आवश्यक होने की स्थिति में अस्पताल के वार्ड के बाहर गैलरी में भी पलंग की व्यवस्था कर ली जाए, ताकि मरीजों को किसी प्रकार की परेशानी का सामना नहीं करना पड़े । उन्होंने कहा कि मौसम परिवर्तन और गर्मी के मौसम में उल्टी दस्त एवं बुखार आदि के प्रकरण आने की संभावना अधिक रहती है। इसके लिए सभी आवश्यक दवाइयां उपकरण एवं संसाधन तैयार रखे जाएं।
मौसमी बीमारी को ध्यान में रखकर तीन माह के हिसाब से दवाइयों का रख रखाव रखें, यदि दवाइयां कम है तो आज ही आवश्यक दवाओं की डिमांड दें। आवश्यक होने की स्थिति में दवाइ के जेनेरिक फॉर्म अथवा सरकारी अस्पताल में उपलब्ध सब्सीट्यूट दवाइयां प्रदान की जाए, यदि आवश्यक हो तो ही दवा प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र से जेनेरिक नाम से ही लिखे। आवश्यक एवं अति गंभीर अवस्था में आने वाले मरीजों को प्राथमिक स्वास्थ्य चिकित्सा प्रबंधन करने के उपरांत मेडिकल कॉलेज के लिए रेफर किया जाए।
गर्मी के दृष्टिगत अस्पताल में पंखे, एयर कंडीशन चालू रखे जाएं और उपयोग के उपरांत बंद कर दिए जाएं। पेयजल की पर्याप्त व्यवस्था उपलब्ध करना सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने पुलिस चौकी प्रभारी से चर्चा कर अवगत कराया की रात्रि काल में जिला चिकित्सालय में आकर कुछ लोग मदिरापान करते हैं, इसलिए अस्पताल में राउंड लगाकर ऐसे लोगों की पहचान कर कानूनी कार्रवाई की जाए। साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जाए कि अस्पताल में केवल भर्ती मरीज के परिजन के लिए ही कैंटीन की सुविधा रात्रि काल में उपलब्ध है, मरीज के परिजन के अतिरिक्त अन्य किसी भी व्यक्ति का अस्पताल में गैर जरूरी आना पूरी तरह प्रतिबंधित है।
बैठक के दौरान डॉक्टर बी एल तापड़िया, डॉ के एस राठौर, डॉ ए पी सिंह, डॉ महेश मौर्य, डॉ ललित जायसवाल, डॉ शैलेंद्र माथुर, डॉ भरत निनामा, डॉक्टर जीवन चौहान, डॉ कैलाश चारेल, डॉ एस एस गुप्ता, डॉ नरेश चौहान, डॉ अभिषेक अरोरा, डॉ रजत दुबे, डॉ सी पी राठौर, डॉक्टर प्रणब मोदी, डॉ सक्षम कुमार, डॉ आदिति भावसर, डॉ ज्योति शर्मा, डॉ शिवांगी रघुवंशी, डॉ सुनीता गामड़, डॉक्टर सोनल ओहरी, डॉ मीना वर्मा, डॉ मनजुल बाजपेई, डॉ अभिनव जैन, डॉ चेतन पाटीदार, डॉ अंकित जैन, डॉ मुकेश डाबर, डॉ आर सी डामोर, डॉ सोफिया सिंगारे, श्री सुनील धनदौर आदि उपस्थित है।